नई आबकारी नीति के चलते दिल्ली की होटलों में 24 घंटे छलकेंगे जाम, युवा पीढ़ी पर इसका क्या होगा असर?
नई आबकारी नीति 24 घंटे शराब की दुकानें खुली रहेगी, 21 साल के युवा भी पी सकेंगे श'राब
by SNEHA SHARMA
बुधवार से दिल्ली में श'राब की बिक्री निजी हाथों में चली गई है फिलहाल दिल्ली में नई आबकारी नीति लागू हुई है, जिसके तहत राजधानी 24 जोन में बंट गई है और उसमें 849 लाइसेंस दिए गए हैं। इस नई नीति के तहत हर जोन में 26 से 27 दुकाने संचालित होगी और किसी भी इलाके में आसानी से श'राब मिल सकेगी, इसके लिए दिल्ली के 272 वार्डो को कई जोन में विभाजित किया गया है और 1 जोन में 8 से 9 वार्ड आएंगे और 1 वार्ड में तीन से चार दुकान खुल सकेंगे। आबकारी विभाग की तरफ से कहा जा रहा है कि जिन लोगों को लाइसेंस उपलब्ध कराया गया है उन लोगों ने दुकानें खोलने की पूरी तैयारी कर ली है, इसके अलावा नई आबकारी नीति लागू होने के साथ ही श'राब 8 से 9% महंगी हो चुकी है और पुरानी नीति के तहत जो दुकाने बांटी गई थी वह मंगलवार तक ही श'राब बेच सकते हैं।
इस वजह से अगर किसी के पास ज्यादा स्टॉक रखा हुआ है तो श'राब को कम पैसों में बेच रहे हैं जिस वजह से कई दुकानों पर भारी भीड़ है, लेकिन ज्यादातर दुकानें ऐसी हैं जिन्होंने स्टॉक पहले ही निकाल दिया है और लगभग तैयारियां पूरी हो चुकी हैं लेकिन कुछ जगह ऐसी है, जहां पर जगह की दिक्कत आ रही है वह समस्या एक-दो दिन में हो जाएगी। इसके अलावा श'राब महंगी होने की वजह बताई जा रही है कि मूल्य वर्धित कर को श'राब लाइसेंस शुल्क से जोड़ा जा रहा है और इसके अलावा थोक मूल्य पर भी लगाया जाएगा। इस वजह से शराब महंगी हो जाएगी कुछ दिनों पहले आबकारी विभाग ने नोटिस जारी किया था जिसमें उन्होंने कहा कि राजस्थान, हरियाणा, पंजाब, उत्तर प्रदेश जैसे पड़ोसी राज्य में श'राब की कीमत दिल्ली से कहीं ज्यादा है और कुछ राज्य में बीयर की कीमतें भी ज्यादा है, दिल्ली में भी श'राब की कीमत बढ़ाई जानी चाहिए।
नई नीति के कुछ नियम: श'राब पीने के लिए न्यूनतम आयु 25 वर्ष थी अभी 21 वर्ष हो गई है
अंतरराष्ट्रीय एयरपोर्ट पर चलने वाली दुकानों, होटलों पर श'राब की बिक्री 24 घंटे होगी
पुरानी नीति में यह नियम था की दुकान कैसी भी हो और काउंटर भी किसी तरफ हो सकता है लेकिन नई नीति में यह चीज लागू की गई है कि शराब की दुकान कम से कम 500 वर्ग फीट में होनी चाहिए और काउंटर सड़क की तरफ नहीं होना चाहिए
और जिन लोगों को लाइसेंस आवंटित किए गए हैं वे मोबाइल और वेबसाइट की सहायता से शराब की होम डिलीवरी कर सकते हैं किसी कार्यालय, छात्रावास, संस्थान में शराब की इजाजत नही
इससे पहले 60% दुकानें सरकारी और 40 फ़ीसदी निजी हाथों में थी, इसके अलावा आपको यह भी बता देते हैं कि कई लोग नई आबकारी नीति लागू होने के बाद विरोध भी कर रहे हैं, लोग आरोप लगा रहे है कि जिन लोगों को दुकानों की इजाजत मिली है वे स्कूलों की पास भी दुकानें खोल रहे हैं जबकि यह नियम है, कि 100 मीटर की दूरी पर शराब का ठेका होना चाहिए और इस नियम की भी पालना नहीं कर रहे हैं और जहां लोग रहते हैं उसी क्षेत्र में भी दुकानें खोल रहे हैं। 3 दिन पहले पीतमपुरा में लोगों ने शराब का ठेका खोले जाने पर विरोध किया था, इसके अलावा बदरपुर गांव रोहताश नगर मे नत्थू कॉलोनी और दक्षिण दिल्ली में कालकाजी समेत कई इलाकों में विरोध हुआ है।
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